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हाथरस के सीएमओ कार्यालय में स्वास्थ्य प्रमाणपत्र के नाम पर वसूली की शिकायत का वीडियो सामने आया है। वीडियो में एक शिक्षक अभ्यर्थी प्रमाणपत्र के नाम पर 500 से एक हजार रुपये की रिश्वत मांगने की शिकायत कर रहा है। सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल होते ही स्वास्थ्य विभाग में खलबली मच गई। पूरे दिन सीएमओ कार्यालय में यह वीडियो चर्चा का विषय बना रहा। बाद में शिकायतकर्ता मुकर गया।
ड्राइविंग लाइसेंस, शस्त्र लाइसेंस व सरकारी नौकरी के लिए लोगों को स्वास्थ्य प्रमाणपत्र की आवश्यकता होती है। बड़ी संख्या में लोग इसे बनवाने के लिए जिला अस्पताल व सीएमओ कार्यालय के चक्कर काटते हैं। इन दिनों शिक्षक भर्ती के लिए शिक्षक अभ्यर्थियों को प्रमाणपत्र की जरूरत पड़ रही है। जिला अस्पताल और सीएमओ कार्यालय में प्रमाणपत्र बनवाने के लिए अभ्यार्थियों की भीड़ उमड़ पड़ी है। स्वास्थ्य विभाग के कुछ कर्मचारी इस बात का फायदा उठा रहे हैं।
10 जनवरी को फिरोजाबाद निवासी अंकुश राणा का वीडियो सामने आया है, जिसमें वह आरोप लगा रहे हैं कि सीएमओ कार्यालय में स्वास्थ्य प्रमाणपत्र बनवाने के नाम पर 500 से एक हजार रुपये वसूले जा रहे हैं। रुपये देने वाले अभ्यर्थियों का प्रमाणपत्र तुरंत बन रहा है। रुपये न देने वाले लोगों को घंटों इंतजार कराया जा रहा है। दूसरे वीडियो में वह कह रहा है कि शिकायत करने के बाद आरोपियों ने रिश्वत के रुपये वापस कर दिए हैं। वीडियो में वह वापस किए गए रुपये और जिला अस्पताल के पर्चे भी दिखा रहा है। वीडियो वायरल होने के बाद स्वास्थ्य विभाग में खलबली मच गई। हालांकि बाद में शिकायतकर्ता मुकर गया।
शिकायतकर्ता को बुलाकर पूछताछ की गई। उसने बताया कि उसे बरगलाकर किसी ने वीडियो बना लिया था। अब उसे कोई शिकायत नहीं है।- डॉ. मंजीत सिंह, सीएमओ हाथरस।